दीवाली आ गईभारी अफसोसकई महंगी रस्मे निभानी होगीगमगीन मासूम चेहरों परभारी नकली मुस्कानें लानी होगी ढ़हने को व्याकुल खण्डहरों परडिस्टेम्पर करना होगाकाले तन तन मन को फिरसतरंगी वस्त्रों से ढकना होगाजल कर राख हो गए कभी केबुझे दिल से फिर
दीवाली आ गईभारी अफसोसकई महंगी रस्मे निभानी होगीगमगीन मासूम चेहरों परभारी नकली मुस्कानें लानी होगी ढ़हने को व्याकुल खण्डहरों परडिस्टेम्पर करना होगाकाले तन तन मन को फिरसतरंगी वस्त्रों से ढकना होगाजल कर राख हो गए कभी केबुझे दिल से फिर